गीता महोत्सव की तरफ पूरा विश्व आर्कषित हो रहा है। यह गीता स्थली कुरुक्षेत्र पूरे विश्व को शांति सदभावना का मार्ग दिखाने का काम कर रहा है। इससे पूरे विश्व में संघर्ष मिट जाएगा और शांति सदभावना बन जाएगी।
वीरवार को देर सायं ब्रहमसरोवर पुरुषोतमपुरा बाग में महोत्सव के गीता महाआरती कार्यक्रम में हरियाणा के शहरी नगर निकाय मंत्री विपुल गोयल, हरियाणा के सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री कृष्ण कुमार बेदी ने अपने विचार व्यक्त किए। इससे पहले कैबिनेट मंत्री विपुल गोयल, कैबिनेट मंत्री कृष्ण कुमार बेदी, जांजीबार की सांस्कृतिक एवं खेल मंत्री टीएम माविता, कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर सोमनाथ सचदेवा, आरएसएस के वरिष्ठï नेता सतीश, केडीबी के मानद सचिव उपेंद्र सिंघल, 48 कोस तीर्थ निगरानी कमेटी के चेयरमैन मदन मोहन छाबडा, चेयरमैन धर्मवीर मिर्जापुर, भाजपा के जिला अध्यक्ष सुशील राणा, केडीबी सदस्य एमके मोदगिल, भाजपा नेता गौरव बेदी, विजय नरुला, अशोक रोशा, डा. ऋषिपाल मथाना, युद्घिष्ठïर बहल, पदमश्री महावीर गुड्डïू, कैप्टन परमजीत सिंह, प्राधिकरण के सदस्य सौरभ चौधरी सहित अन्य गणमान्य लोगों ने अंतर्राष्टï्रीय गीता महोत्सव पर ब्रहमसरोवर की महाआरती और पूजा-अर्चना की तथा दीपशिखा प्रज्ज्वलित कर विधिवत रुप से महाआरती का शुभारम्भ भी किया। इस महाआरती का गुणगान पंडित बलराम गौतम, पंडित सोमनाथ शर्मा, गोपाल कृष्ण गौतम, अनिल व रुद्र ने किया।
कैबिनेट मंत्री विपुल गोयल ने कहा कि कलयुग से 35 वर्ष पूर्व भगवान श्रीकृष्ण ने कुरुक्षेत्र की भूमि पर गीता का उपदेश दिया और महर्षि वेद व्यास ने पवित्र ग्रंथ गीता को प्रकट किया। श्रीमद्भगवद् गीता हिन्दुओं के पवित्रतम ग्रन्थों में से एक है। महाभारत के अनुसार कुरुक्षेत्र युद्ध में भगवान श्री कृष्ण ने गीता का सन्देश अर्जुन को सुनाया था। भगवत गीता में एकेश्वरवाद, कर्म योग, ज्ञानयोग, भक्ति योग की बहुत सुन्दर ढंग से व्याख्या की गई है। पवित्र ग्रंथ गीता के उपदेश आज भी हमारे जीवन के रहस्यों को उजागर करते है, आज का इंसान जीवन की मोह माया में पड़ा रहता है। भगवत गीता का ज्ञान ही हमें इस संसारिक मोह-माया के बंधन से आजाद कर सकता है। गीता का ज्ञान ही स्वयं को और सर्वशक्तिशाली ईश्वर को पहचानने का अवसर देता है।
कैबिनेट मंत्री कृष्ण कुमार बेदी ने कहा कि भगवान श्रीकृष्ण के उपदेश पवित्र ग्रंथ गीता में है, जो मनुष्य के लिए बहुत महत्वपूर्ण है, जिसे हर मनुष्य को जानना बहुत जरुरी है। श्रीमद्भगवद्गीता वर्तमान में धर्म से ज्यादा जीवन के प्रति अपने दार्शनिक दृष्टिकोण को लेकर भारत में ही नहीं विदेशों में भी लोगों का ध्यान अपनी और आकर्षित कर रही है। निष्काम कर्म का गीता का संदेश विश्व के सभी गीता प्रेमियों को भी लुभा रहा है। पवित्र ग्रंथ गीता विश्व के सभी धर्मों की सबसे प्रसिद्ध पुस्तकों में शामिल है। इस कार्यक्रम के अंत में केडीबी की तरफ से सभी मेहमानों को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया। इस मौके पर एडीसी सोनू भट्टï, सीईओ केडीबी पंकज सेतिया, एसडीएम कपिल शर्मा सहित अन्य अधिकारी व सदस्य मौजूद थे।

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